नफ़रतों की कशमकश से,कई गुना अच्छी है मोहब्बत
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जिंदगी के खूबसूरत पहलू से, रुबरु कराती है मोहब्बत।
अपर्णा शर्मा
Aug.5th,2025
नादानी
जिनका हाथ थामे बैठे थे, जिंदगी के अंधेरों में
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वो पंछी बन उड़ चले, जिंदगी के उजालों में.
अपर्णा शर्मा
July 29th,25
हाथ नेह के
ये हाथ बढ़े हैं अनुराग से भरे हृदय के
ये हाथ बढ़े हैं स्नेह में डूबे नयनों के
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ये हाथ बढ़े हैं मेरे विश्वास से भरे नेह के
थाम भी लो,न मुस्कराओ अब तुम दूर से।
अपर्णा शर्मा
July22nd,25
